23 अक्टूबर 2024. आगरा।
- आठ करोड़ की दवाएं और मशीनें बरामद, कई राज्यों में था नेटवर्क
- नरेंद्र शर्मा देख रहा था काम, पहले से बड़ी मशीनें पैकिंग के लिए लाया था
जेल से रिहा होने के बाद दवा माफिया विजय गोयल ने दोबारा नकली-नशीली दवाओं की फैक्ट्री खोल दी थी। सिकंदरा के औद्योगिक क्षेत्र में छापेमारी कर एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स ने विजय गोयल समेत 10 लोगों को गिरफ्तार किया है। मौके से आठ करोड़ की दवाएं और मशीनें बरामद की गई हैं। जुलाई 2023 में एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स ने बड़ी कार्रवाई की थी।
जेल से रिहा होकर दवा माफिया विजय गोयल ने दोबारा नकली-नशीली दवाएं बना रहा था। इस बार भी सिकंदरा के औद्याेगिक क्षेत्र में नकली दवाओं की फैक्ट्री खोल रखी थी। मंगवार को एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स ने छापा मारकर दवा माफिया विजय गोयल, उसके मैनेजर नरेंद्र शर्मा समेत 10 लोगों को गिरफ्तार कर लिया।
मौके से आठ करोड़ की दवाएं और मशीनें बरामद की है। बरामद नकली-नशीली दवाएं दिल्ली, राजस्थान, पंजाब, मध्य प्रदेश्र, आगरा समेत उत्तर प्रदेश के कई जिलों में खपाई जा रही थीं।
आइकॉन सिटी, मघटई के विजय गोयल के विरुद्ध जुलाई 2023 में एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स ने बड़ी कार्रवाई की थी। सिकंदरा और बिचपुरी क्षेत्र में नकली-नशीली दवाओं की फैक्ट्रियां पकड़ी थीं। विजय गोयल, नरेंद्र शर्मा समेत सात लोगों को जेल भेजा था।
जमानत पर जेल से बाहर आया था विजय गोयल
इस वर्ष फरवरी में विजय गोयल जमानत पर जेल से बाहर आया था। नरेंद्र शर्मा पहले ही रिहा हो गया था। बाहर आने के चार महीने बाद ही दोनों ने सिकंदरा औद्योगिक क्षेत्र में जोनल पार्क रोड पर दोबारा फैक्ट्री खोल ली। यह जगह उसने 30 हजार रुपये महीने किराए पर ली थी। हिमाचल प्रदेश से मशीनें और कच्चा माल लेकर आया था।
नकली और नशीली दवाओं का काम देख रहा था नरेंद्र शर्मा
में नकली-नशीली दवाओं के उत्पादन का काम नरेंद्र शर्मा देखता था। श्रमिकों को लाने और काम कराने का ठेका तेहरा के अशोक कुशवाह पर था। दवाओं को अन्य राज्यों में भेजने के बाद लेनदेन हवाला के माध्यम से किया जाता था। दवाओं के कितने कार्टन किस राज्य में किस पते पर भेजने हैं, यह सब विजय गोयल देखता था।अमित पाठक दवाओं को स्थानीय बाजार और बाहर भेजने का काम करता था।
फिर से खुलकर खर्च करने लगा था विजय गोयल
एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स के सीओ इरफान नासिर ने बताया कि टीम नारकोटिक्स के मामले में जेल गए आरोपितों के रिहा होने पर उनकी निगरानी करती है। विजय गोयल के बारे में छानबीन की तो पता चला कि वह हिमाचल प्रदेश के एक दर्जन से अधिक चक्कर लगा चुका है। वह फिर से खुलकर खर्चा कर रहा है। जिसके बाद से टीम उसके पीछे लगी थी। टीम को उसके औद्योगिक क्षेत्र में दोबारा नकली-नशीली दवाओं की फैक्ट्री खोलने का पता चला।
पैकिंग लिए लगी पहले से बड़ी मशीनें
मंगलवार को बेसमेंट में फैक्ट्री पर छापा मारा तो पाया कि वहां पहले से बड़े पैमाने पर काम कर रहा था। दवा माफिया ने दवाओं को तैयार करने, उनकी पैकिंग के लिए पहले से बड़ी और आधुनिक मशीनें लगा रखी थीं। फैक्ट्री से बरामद दवाओं का मूल्य साढ़े चार करोड़ और जब्त मशीनें साढ़े तीन करोड़ रुपये की है। मौके से बोरियों में भरा कच्चा माल भी बरामद किया है।
ये हुए गिरफ्तार
आइकान सिटी मघटई, जगदीशपुरा का विजय गोयल, शंकरपुरी केदार नगर का नरेंद्र शर्मा, बालाजीपुरम जगदीशपुरा का अमित पाठक, तेहरा सैंया का अशोक कुमार कुशवाह, शिव कुमार कुशवाह, आलोक कुशवाह, रविकांत और जितेंद्र कुशवाह, जाजऊ सैंया का लाेकेंद्र कुशवाह।
बरामद नकली-नशीली दवाएं
अल्प्राजोलम, अल्प्रासेफ, अल्जोसेल, मोंटेयर एफ एक्स की गोलियां, प्राक्सीवेल कैप्सूल बरामद किए हैं।